इटावा। कड़ाके की ठंड की शुरुआत होते ही जिले में तेज बुखार, वायरल, सर्दी, जुकाम, खांसी, उल्टी-दस्त जैसी बीमारियों के मरीजों की संख्या में अचानक वृद्धि देखने को मिली है। अस्पतालों में मरीजों की भीड़ बढ़ गई है और जिला अस्पताल में रोजाना 610 से अधिक मरीज पंजीकरण करवा रहे हैं। इनमें सबसे अधिक मरीज तेज बुखार, वायरल और सर्दी से संबंधित समस्याओं से ग्रस्त हैं।
सोमवार को सुबह आठ बजे से ही शहर और आसपास के ग्रामीण क्षेत्रों से मरीजों का आना शुरू हो गया था। मरीजों का यह सिलसिला दोपहर 12 बजे तक जारी रहा। इस दौरान 610 से अधिक मरीजों ने जिला अस्पताल में पंजीकरण करवाया। इनमें से लगभग 150 मरीजों का रक्त परीक्षण भी किया गया।
जिला अस्पताल में वरिष्ठ फिजीशियन डॉ. अजय शर्मा ने बताया कि इस मौसम में वायरल संक्रमण और तेज बुखार के मामलों में तेजी से वृद्धि हो रही है। अस्पताल में जांच के बाद इन मरीजों को रक्त परीक्षण की सलाह दी जा रही है ताकि सही उपचार दिया जा सके। डॉ. शर्मा ने सर्दी और वायरल संक्रमण से बचाव के लिए डॉक्टर परामर्श और दवाइयों के साथ-साथ सावधानियों को भी अनिवार्य बताया।
उन्होंने कहा कि खासतौर पर बच्चों और बुजुर्गों का ध्यान रखना बेहद जरूरी है, क्योंकि इस उम्र के लोग सर्दी-जुकाम और वायरल संक्रमण का अधिक शिकार होते हैं। इसके अलावा, अस्पताल में आने वाले मरीजों को ठंड से बचने के उपायों की सलाह भी दी जा रही है ताकि वे संक्रमण से बच सकें।
जिला अस्पताल के चिकित्सा अधिकारियों ने बताया कि ठंड के मौसम में वायरस और संक्रमण फैलने का खतरा बढ़ जाता है। इसलिए मरीजों को खास तौर पर सार्वजनिक स्थानों पर जाने से बचने, हाथ धोने, मास्क पहनने और अधिकतर गर्मी में रहने की सलाह दी जा रही है।
इसके अलावा, जिला अस्पताल में अतिरिक्त चिकित्सकों की तैनाती भी की गई है ताकि अधिक से अधिक मरीजों का इलाज किया जा सके। डॉक्टरों ने नागरिकों से अपील की है कि वे सर्दी-जुकाम और बुखार के शुरुआती लक्षणों पर ध्यान दें और इलाज में देरी न करें, ताकि बीमारियों का फैलाव न हो।